राष्ट्रीय हास्य कवि सम्मेलन व सम्मान समारोह: 21वां वार्षिक महोत्सव 2025

राष्ट्रीय हास्य कवि सम्मेलन व सम्मान समारोह:
             21वां वार्षिक महोत्सव 2025


           एम•के• साहित्य अकादमी, पंचकूला द्वारा हरियाणा साहित्य एवं संस्कृति अकादमी के सहयोग से 21वां वार्षिक समारोह 30 नवंबर 2025, रविवार को आयोजित किया। इस अवसर पर राष्ट्रीय हास्य कवि सम्मेलन के साथ भव्य अवार्ड एवं सम्मान समारोह का आयोजन वरिष्ठ नागरिक परिषद, सेक्टर-15, पंचकूला के सभागार में किया गया। यह समारोह स्वर्गीय डॉ. मनोज गुप्ता की स्मृति में प्रतिवर्ष नवंबर माह में आयोजित किया जाता है।

           इस समारोह  में मुख्य अतिथि: डॉ. रंजीत सिंह जादौन (I/C  PAMC पंचकूला एवं उपनिदेशक AH & D, पंचकूला) रहे, उन्होंने सम्पूर्ण समारोह की सराहना की तथा श्री रविंदर शर्मा, श्री करतार सिंह एलावादी ,श्रीमती प्रेम सोमरा जी एवं श्री पवन गुप्ता ने विशेष अतिथि की भूमिका निभाई। सम्पूर्ण समारोह डॉ. राजेन्द्र कुमार 'कनोजिया' (चंडीगढ़) जोकि एक प्रख्यात साहित्यकार एवं कवि हैं तथा PGI आर्थो विशेषज्ञ भी हैं, की अध्यक्षता के सानिध्य में हुआ।

          डॉ. प्रतिभा ‘माही’ बड़े ही सरल, शान्त रूप से संस्था का परिचय दिया था यह भी बताया कि वो अब तक लगभग 300 से ऊपर कार्यक्रम करवा चुकी हैं। डॉ. प्रतिभा ‘माही’ अपने व्यक्तित्व का परिचय चार पंक्तियों में दिया । बानगी देखें:- 
"पर्त डर पर्त जब भी खुली हूँ मैं ,
आंसुओं से सदा ही धुली हूँ मैं ।
रुख बदल डालूंगी हवाओं का,
आज इस बात पर तुली हूँ मैं ।।"

           इस कार्यक्रम में देशभर से आए प्रख्यात हास्य, प्रेम, श्रृंगार, सूफी और ओज रस के कवि-कवयित्रियाँ ने अपनी प्रस्तुतियों से श्रोताओं का मनोरंजन किया। डॉ. उर्मिला कौशिक ‘सखी’ ने समारोह का श्री गणेश दीप प्रज्वलन व माँ शारदे जी की वंदना से करवाया तथा आमंत्रित माननीय सभी अतिथियों बी कवियों का स्वागत कर मंच पर आसानी करवाया और मंच आगे के संचालन हेतु  पी.के. आज़ाद को सौंप दिया।  पी.के. आज़ाद संचालन को उच्च शिखर तक ले गए और अंत में अपनी माँ के सम्मान गीत सुनाया, जिसने सभी श्रोताओं को भाव विभोर कर दिया। 

           डॉ. अशोक बत्रा ने लोगों को इतना हंसाया कि वो आनंद में झूमने लगे। डॉ. पूनम माटिया ने अपनी ग़ज़ल से सभी का मन मोह लिया। पंडित मुकेश मासूम ने अपना हास्य भरे पैरोडी गीत से खूब हंसाया। श्री के.के. सरीन ने अपने कुछ शेर और गीत सुनाया। श्रीमती ईशा नाज़ ने अपनी प्रस्तुतो में मधुर आवाज़ का परचम लहरा। श्री अमृतपाल सिंह ‘कॉफी’ ने अपने हास्य व्यंग सुना कर हंसा हंसा के पागल कर दिया तथा श्री विशेष आज़ाद ‘मुरादाबादी’ ने माँ व प्रेम के ऊपर मुक्तक सुनाकर सबके दिलों  में  अपनी जगह बना ली । 

           समारोह के अंत में सभी अतिथियों और कवियों को एम•के•साहित्य अकादमी अवार्ड 2025 से नवाजा गया तथा ट्राइसिटी की 20 महान हस्तियों को भी सम्मानित किया गया,जिन्होंने साहित्य, समाज, संस्कृति और आध्यात्मिक मूल्यों के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान दिया। ये सभी महान हस्तियाँ अपने आप में पूरी एक संस्था हैं, सम्मानित होने वाले प्रमुख व्यक्तित्वों में डॉ. वी.पी. नागपाल, श्री नवीन शर्मा, श्री सुरेश गोयल, डॉ. अनीश गर्ग, श्री सुभाष भास्कर, श्री सुशील हसरत ‘नरेलवी’, श्री पीयूष जैन, श्री विजय कपूर, श्री प्रेम विज, श्री अशोक भंडारी ‘नादिर’, श्री राजवीर सिंह ‘राज’, श्री नरेश कुमार, श्री सुरेन्द्र सिंगला, डॉ. ईश्वर सिंह, श्री पवन गुप्ता, डॉ. प्रतिभा सिंह, डॉ. एकता नागपाल, श्रीमती अर्पणा गुप्ता, श्रीमती मीनू तानसेन, श्रीमती मीनाक्षी जैन, श्रीमती नीलम त्रिखा एवं युवा प्रतिनिधि इशप्रीत सिंह शामिल हैं।

          श्रोताओं ने बताया कि यह आयोजन साहित्य और कला प्रेमियों के लिए अत्यंत आनंदमय और प्रेरणादायक अनुभव होगा। तालियों से पूरा सभागार गूंजने लगा । डॉ. प्रतिभा ‘माही’ की मेहनत रंग लाई, यह कार्यक्रम सम्पूर्ण दृष्टि से सफल रहा, जिसका श्रेय डॉ. प्रतिभा ‘माही’ और उनकी पूरी टीम को जाता है।


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